Thursday 14 August 2014

अब तो अपना लालकिला स्वाभिमानी भाषा बोलेगा !!




अब तो अपना लालकिला- स्वाभिमानी भाषा बोलेगा !!
अब तो अपना लालकिला-मर्दानी भाषा बोलेगा !! 
अब ना सूरज फिर कभी बचकानी भाषा बोलेगा
मौसम जो भी हो शासक अब, हिन्दुस्तानी भाषा बोलेगा!!

अब वो युग बीत चूका,
जब अपना भारत बेगानी भाषा बोला था
जब 47  को AK-47  से डरते देखा था
जब खुद्दारी को गद्दारी का पानी भरते देखा था 
जब सिंदूरों को तंदूरों में जलकर मरते देखा था
अब तो विक्रम का सिंघासन वरदानी भाषा बोलेगा
मौसम जो भी हो शासक, हिन्दुस्तानी भाषा बोलेगा !!
अब तो अपना लालकिला मर्दानी भाषा बोलेगा !!

अब वो युग बीत चुका, 
जब भारत बेगानी भाषा बोला था
जब हमने चन्दन पर, साँपों का पहरा देखा था
जब हमने सिंघासन को भी गूंगा बहरा देखा था
जब हमने भारत माँ के, चेहरे पे आंसूं को, ठहरा देखा था
दण्डनीति का नायक, अब नीति की ही भाषा बोलेगा !!
मौसम जो भी हो शासक अब, हिन्दुस्तानी भाषा बोलेगा !!
अब तो अपना लालकिला मर्दानी भाषा बोलेगा !!

वो दिन अब दूर नहीं जब हम विष-बेलें  उखाड़ फेकेंगे
वो दिन दूर नहीं जब हर भीम की बाहें दुशासन को खींचेगी
वो दिन अब दूर नहीं जब भ्रष्टाचारी-व्यभिचारी
भारतीय संस्कृति से डर, भारत माँ का दामन तज देंगे
अब तो अपना लालकिला मर्दानी भाषा बोलेगा!! 
मौसम जो भी हो सिंघासन अब, पहचानी भाषा बोलेगा !!
अब हर मानस नीति और स्वाभिमान की, हिन्दुस्तानी भाषा बोलेगा!!
वर्षों बाद अपना लालकिला स्वाभिमानी भाषा बोला है !!

 सभी को स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं ! जय हिन्द !!
 सभी को स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं ! जय हिन्द !!

1 comment:

  1. Suchita Ji, have you written these lines, really nice.

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